अराकू हिल स्टेशन: प्राकृतिक सुन्दरता

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अराकू हिल स्टेशन को ईश्वरी वरदान कहें तो शायद कोई अतिश्योक्ति न होगी। दक्षिण भारत का अराकू हिल स्टेशन कॉफी की सुगंध के लिए देश-विदेश में प्रसिद्ध है। आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम क्षेत्र का यह हिल स्टेशन अपनी आगोश में इन्द्रधनुषी रंगों का निराली छटा समेटे है। करीब तीन हजार फुट की ऊंचाई पर स्थित अराकू हिल स्टेशन मखमली पर्वत श्रंखला, सुरंगों, गुफाओं, पुलों एवं भव्य-दिव्य झरनों के लिए प्रसिद्ध है।

पर्यटकों को अराकू हिल स्टेशन में अहसास होता है कि जैसे प्रकृति की गोद में हों। करीब 36 वर्ग किलोमीटर दायरे में फैला अराकू हिल स्टेशन रंगों की निराली दुनिया सा दिखता है। अराकू हिल स्टेशन बेहतरीन ड्राइव का आदर्श क्षेत्र माना जाता है। पारिवारिक अवकाश का आनन्द लेना हो तो पर्यटकों को अराकू हिल स्टेशन का रुख अवश्य करना चाहिए। पर्वतीय क्षेत्र होने के बावजूद अराकू हिल स्टेशन एरिया में मौसम का बदलाव होता रहता है।

चूंकि यह एरिया कॉफी बागानों के लिए खास है लिहाजा कॉफी की खूशबू से हिल स्टेशन महकता रहता है। हवा की ताजगी पर्यटकों को आक्सीजन एवं ऊर्जा से पल में ही भरपूर कर देती है। अराकू घाटी में ड्राइविंग का भी अपना एक अलग आनन्द है। अराकू हिल स्टेशन एरिया मुख्यत: जनजातीय बाहुल्य है। सघन वन क्षेत्र एवं पर्वतीय इलाका होने के जलवायु का एक सुखद अहसास होता है।

अराकू हिल स्टेशन के आसपास वाले इलाकों में अनन्तगिरि एवं सुंकारीमेट्टा वन क्षेत्र भी शामिल हैं। हिल स्टेशन गालिकोंड, रक्तकोंडा, सुंकारीमेट्टा तथा चितमोगोंडी जैसे पहाड़ों से चौतरफा घिरा है। गालिकोंडा पर्वत की ऊंचाई करीब पांच हजार फुट है। इसे आंध्र प्रदेश का सबसे ऊंचा पर्वत माना जाता है। अराकू हिल स्टेशन के चौतरफा मखमली घास, खूशबूदार फूलों से लदे बाग-बगिया एवं रंग-बिरंगे फूलों एवं पत्तों वाले पेड़-पौध परिवेश को आैर भी खूबसूरत बनाते हैं। अराकू हिल स्टेशन एवं उसके आसपास भी असंख्य आकर्षण हैं।

इनमें खास तौर से टायडा पार्क, बोरा गुफायें, अनन्तगिरी, गोस्तानी नदी, आदिवासी संग्रहालय, कॉफी बागान, कटिकी झरने, डमब्रिागुड़ा झरना, भीमली समुद्र तट, चापराई झरने आदि बहुत कुछ है। खास यह है कि अराकू हिल स्टेशन एरिया में भारतीय रेलवे का नेटवर्क भी है। जिससे पर्यटक रेल यात्रा के जरिये अराकू हिल स्टेशन एरिया का सौन्दर्य देख सकते हैं।

खास यह है कि एक रेलवे स्टेशन अराकू में स्थित है। दूसरा रेलवे स्टेशन अराकू घाटी क्षेत्र में स्थित है। जिससे रेल यात्रा के दौरान पर्यटक हिल स्टेशन का भरपूर आनन्द ले सकें।रेलवे स्टेशन समुद्र तल से करीब 996 मीटर ऊंचाई पर स्थित है। हिल स्टेशन के सुन्दरता से प्रभावित होकर असंख्य फिल्मों की शूटिंग भी हो चुकी है। खास तौर से यहां दक्षिण भारत की समृद्ध सांस्कृतिक परम्परा भी देखने को मिलती है।

आंध्र प्रदेश के शहर विजाग से करीब 114 किलोमीटर दूर यह हिल स्टेशन ओड़ीशा के काफी करीब है। पदमपुरा का बोटैनिकल गार्डेन भी देखने लायक है। अराकू हिल स्टेशन एरिया के झरनों का अंदाज ही निराला है। झरनों का कल-कल बहता पानी देख कर पर्यटकों का मन होता है कि पानी में पैर डाल कर बैठ जायें। पर्यटक झरनों के पानी में खूब मौज-मस्ती करते हैं।

टायडा पार्क: टायडा पार्क वस्तुत: एक छोटा सा गांव है। यह विजाग से 75 किलोमीटर दूर है। वनस्पतियों की प्रचुरता सुगंध के साथ साथ दीर्घ जीवन के लिए एक आैषधि भी है। पशु-पक्षियों का कोलाहल सुन देख कर मन प्रफुल्लित हो जाता है। प्रकृति प्रेमियों के लिए यह एक आदर्श स्थल माना जाता है।

बोरा गुफायें: बोरा गुफायें अराकू हिल स्टेशन एरिया का खास सौन्दर्य है। बोरा गुफायें उपर से देखने में सामान्य दिखती हैं लेकिन आंतरिक दशा एवं दिशायें बेहद भव्य-दिव्य हैं। भू-वैज्ञानिकों की मानें तो यह गुफायें अति प्राचीनकाल की हैं। लाइमस्टोन की यह गुफायें गोस्तानी नदी के प्रवाह का परिणाम हैं। इन गुफाओं के अंदर एक अलग ही दुुनिया दिखायी देती है। खास यह कि गुफाओं के अंदर प्रवेश करने के लिए रेंगना पड़ता है लेकिन गुफा में प्रवेश करते ही विशाल हाल एवं सीढ़ियों की श्रंखलायें दिखती हैं। इन गुफाओं में प्राचीनकालीन शिवलिंग भी है।

गोस्तानी नदी: गोस्तानी नदी आंध्र प्रदेश की लाइफलाइन भी मानी जाती है। अनन्तगिरी पर्वत से निकल कर गोस्तानी नदी पश्चिम बंगाल तक प्रवाहित होती है। नदी में नौकायन का आनन्द भी लिया जा सकता है।

अराकू हिल स्टेशन की यात्रा के लिए सभी आवश्यक संसाधन उपलब्ध हैं। निकटतम हवाई अड्डा विशाखापट्टनम है। विशाखापट्टनम से अराकू हिल स्टेशन करीब 112 किलोमीटर दूर है। विशाखापट्टनम से अराकू के लिए रेल से भी यात्रा की जा सकती है। विशाखापट्टनम से अराकू की रेल यात्रा करीब 6 घंटे अवधि की है। अराकू हिल स्टेशन सड़क मार्ग से भी जुड़ा है।