Beautiful Heaven on Earth Chakrata Hill Station Uttarakhand

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चकराता हिल स्टेशन: धरती का स्वर्ग चकराता हिल स्टेशन को धरती का स्वर्ग कहें तो शायद कोई अतिश्योक्ति न होगी। जी हां, चकराता हिल स्टेशन एक अद्भुत दुनिया एवं अद्भुत परिवेश का एहसास कराता है। उत्तराखण्ड के जौनसर बावर क्षेत्र का यह हिल स्टेशन देश दुनिया में खास प्रसिद्ध है। शायद इसी लिए चकराता हिल स्टेशन दुनिया के पसंदीदा हिल स्टेशन में एक है। सर्दियों में चकराता हिल स्टेशन में स्नोफॉल का अपना एक अलग ही आनन्द है। समुद्र तल से करीब 7000 फुट की ऊंचाई पर कलसी स्थित चकराता हिल स्टेशन सुरम्य एवं शांत वातावरण के लिए कुछ खास है। चौतरफा हिमालय की चोटियां, बर्फ की सफेद ओढ़नी, वन क्षेत्रों की सघन हरितिमा, मखमली घास के मैदान पर्यटकों को बेहद आकर्षित करते हैं। बादलों की घुमक्कड़ी देख कर मन-मस्तिष्क पुलकित हो उठता है। बादलों का खिलंदड़पन दिलों पर छा जाता है। कभी आप बादलों की गोद में आैर कभी बादल आपकी गोद में होते हैं। प्रकृति प्रेमियों एवं ट्रैकिंग के लिए चकराता हिल स्टेशन किसी स्वर्ग से कम नहीं। शीतलता ऐसी कि मन मस्तिष्क पर छा जाये। सदाबहार शंकुवन श्रंखला का यहां अपना एक अलग ही मजा है। शंकु वन क्षेत्र की सघनता के मध्य जौनसारी जनजाति की बस्तियों या गांव की अपनी एक अलग संस्कृति दिखती है। यहां का भोलापन ह्मदयंगम हो जाता है। चकराता हिल स्टेशन की खोज एवं स्थापना ब्रिाटिश कर्नल ह्यूम एवं उनके सहयोगियों ने की थी। चकराता का समर आर्मी ट्रेनिंग कैम्प के तौर पर स्थापित किया गया था। वर्तमान में चकराता में सेना के कमांड़ों को प्रशिक्षण दिया जाता है। खास यह कि चकराता हिल स्टेशन एवं उसके आसपास सुन्दर एवं रमणीक स्थानों की एक लम्बी श्रंखला है। झीलों एवं झरनों के साथ ही यहां दर्शनीय स्थल भी हैं। रामलाल गार्डेन, टाइगर वॉटर फॉल्स, लाखमण्डल, मोईगड झरना, कानासर, देव वन आदि इत्यादि बहुत कुछ चकराता हिल स्टेशन पर खास है। जिसे पर्यटक भूल नहीं पाते। चकराता हिल स्टेशन की यात्रा का बेहतरीन समय मार्च से जून एवं अक्टूबर से दिसम्बर की मध्य अवधि है। जून से सितम्बर के मध्य बारिश होती है। लिहाजा इस अवधि में यात्रा से बचना चाहिए। चकराता में साहसिक खेलों जैसे रिवर राफ्टिंग, पैराग्लाइडिंग, ट्रैकिंग एवं पर्वतारोहण सहित बर्फबारी के खेल का आनन्द पर्यटक ले सकते हैं। टाइगर वॉटर फॉल्स: टाइगर वॉटर फॉल्स चकराता हिल स्टेशन से करीब 5 किलोमीटर दूर एक सुरम्य एवं शांत स्थान है। करीब 50 मीटर ऊंचाई से गिरता यह फॉल्स बेहद दर्शनीय प्रतीत होता है। मोती सा चमकता जल बेहद सुन्दर लगता है। समुद्र तल से करीब 1395 मीटर ऊंचाई पर स्थित यह सुन्दर वॉटर फॉल्स चकराता के उत्तर-पूर्व में स्थित है। लाखमण्डल: लाखमण्डल मसूरी-यमुनोत्री रोड पर स्थित है। लाखमण्डल का ऐतिहासिक एवं पौराणिक महत्व है। विशेष रूप से महाभारत काल से ताल्लुक रखता है। कहावत है कि महाभारत काल में पाण्डव के लिए यह लाक्षागृह बनाया गया था। यह पाण्डव को जिंदा जलाने का एक षणयंत्र था। लाखमण्डल यमुनोत्री से करीब 30 किलोमीटर दूर स्थित है। लाखमण्डल में पाण्डव, केदार, दिवा आदि के दर्शनीय मंदिर हैं। भीम एवं अर्जुन की दिव्य-भव्य प्रतिमाएं भी हैं। मोईगड वॉटर फॉल्स: मोईगड वॉटर फॉल्स एक शांत एवं सुरम्य स्थान है। पर्यटक यहां एक खास ताजगी का एहसास करते है। कानासर: कानासर वन क्षेत्र से घिरा एक सुन्दर एवं आदर्श पिकनिक स्पॉट है। यह ऊंची पहाड़ियों एवं वर्षा वन क्षेत्र का इलाका है। शीतलता का एहसास पर्यटकों को एक खास ऊर्जा से लबरेज कर देता है। चकराता-ट्यूनी मार्ग पर स्थित कानासर चकराता हिल स्टेशन से करीब 26 किलोमीटर दूर स्थित है। रामलाल गार्डेन: रामलाल गार्डेन चकराता हिल स्टेशन से करीब 9 किलोमीटर दूर मसूरी रोड पर स्थित है। रामलाल गार्डेन करीब 30 मीटर लम्बा एवं करीब 20 मीटर चौड़ा है। सुन्दर एवं हरा भरा गार्डेन पर्यटकों से आबाद रहता है। यह बेहद दर्शनीय है। देव वन: देव वन चकराता से करीब 16 किलोमीटर एक घना वन क्षेत्र है। यहां के वन क्षेत्र की सुन्दरता देखते ही बनती है। देव वन क्षेत्र समुद्र तल से करीब 9500 फुट ऊंचाई पर स्थित है। देव वन से हिमालय की सुन्दरता एवं भव्यता का अद्भुत दृश्य दिखता है। चकराता हिल स्टेशन की यात्रा के सभी आवश्यक संसाधन उपलब्ध हैं। निकटतम एयरपोर्ट जॉली ग्रांट एयरपोर्ट है। एयरपोर्र्ट से चकराता हिल स्टेशन की दूरी करीब 123 किलोमीटर है। निकटतम रेलवे स्टेशन देहरादून जंक्शन है। पर्यटक सड़क मार्ग से भी चकराता हिल स्टेशन की यात्रा कर सकते हैं।