यूपी में खिलाड़ियों के आड़े नहीं आएगी धन की कमी

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश में खेल संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए अधिकारियों को जरूरी कदम उठाने के निर्देश दिए हैं। इसके चलते खिलाड़ियों के लिए उपकरण से लेकर उनकी तैयारियों, प्रशिक्षण, फिटनेस से लेकर डाइट तक के लिए सरकार की ओर से खजाना खोल दिया गया है। कमजोर तबके के उत्कृष्ट खिलाड़ियों को आर्थिक रूप से कोई समस्या न हो इसके लिए एकलव्य कीड़ा कोष की स्थापना की गई है। इसके तहत विभिन्न मदों में खिलाड़ियों पर करोड़ाें रुपये खर्च किए जा रहे हैं। इसमें खिलाड़ियों की डाइट से लेकर खेल के दौरान चोट लगने, उनके उत्कृष्ट प्रदर्शन पर प्राेत्साहन धनराशि, खेल उपकरण के लिए अनुदान दिए जाने की व्यवस्था की गई है।

योगी सरकार के एकलव्य क्रीड़ा कोष के तहत पदक अर्जित करने वाले प्रदेश के 35 खिलाड़ियों को 31 लाख रुपये की आर्थिक सहायता खेल विभाग द्वारा उपलब्ध कराई जा चुकी है। वहीं एकलव्य कीड़ा कोष के तहत खेल संघों द्वारा आयोजित राष्ट्रीय चैम्पियनशिप में पदक विजेता खिलाड़ियों को अपने खेल विधा से संबंधित आवश्यक उपकरणों की खरीद के लिए पांच लाख रुपये तक अनुदान दिया जा रहा है। संबद्धता प्राप्त खेल संघों द्वारा 4 वर्षों में होने वाले एशियन चैम्पियनशिप, एशियन गेम्स, वर्ल्ड कप, विश्व चैम्पियनशिप तथा एशिया कप में पदक विजेता एवं प्रतिभागी खिलाड़ियों को शारीरिक विकास एवं संवर्धन के लिए डाइट मनी के रूप में 3 लाख रुपये की धनराशि प्रतिवर्ष देने का प्राविधान किया गया है। इसी तरह जूनियर एशियन चैम्पियनशिप, जूनियर विश्व चैम्पियनशिप जूनियर वर्ल्ड कप एशियन कप, यूथ ओलम्पिक गेम्स, कॉमनवेल्थ गेम्स, सैफ गेम्स पदक विजेता एवं प्रतिभागी खिलाड़ियों को 2 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जा रही है। इसके अलावा ओलम्पिक गेम्स के लिए क्वालिफाई व कोचिंग कैम्प के लिए खिलाड़ियों को 5 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जा रही है।

कमजोर तबके के उत्कृष्ट खिलाड़ियों पर है खास फोकस : इतना ही नहीं योगी सरकार एकलव्य कीड़ा कोष के तहत खेल प्रतियोगिता एवं प्रशिक्षण के दौरान लगने वाली चोट के इलाज के लिए खिलाड़ी को 5 लाख रुपये की मदद कर रही है। प्रदेश के विभिन्न शहरों के क्रीड़ांगन में प्रशिक्षण के लिए पंजीकृत खिलाड़ियों, आवासीय क्रीड़ा छात्रावासों के खिलाड़ियों तथा स्पोर्ट्स काॅलेजेज के आवासीय खिलाड़ियों का आयुष्मान भारत योजना के तहत स्वास्थ्य बीमा का लाभ देने के लिए प्रस्ताव मांगा गया है। इन खिलाड़ियों का डाटाबेस तैयार करने के लिए पीएमयू का गठन किया गया है। साथ ही खिलाड़ियों की सुविधा के लिए एक वेब पोर्टल भी तैयार किया गया है। वहीं एकलव्य कीड़ा कोष के तहत केडी सिंह बाबू स्टेडियम में पहला खेल उपकरण बैंक बनाया गया है, जिसमें स्पान्सर, भूतपूर्व खिलाड़ियों तथा खेल प्रेमियों द्वारा उपलब्ध कराये गये उपकरण को रखा जायेगा। इसे प्रशिक्षणरत आर्थिक रूप से कमजोर खिलाड़ियों को उनकी आवश्यकतानुसार उपलब्ध कराया जायेगा।

इन खिलाड़ियों को दी गई आर्थिक सहायता : अरविन्द चौधरी को 39वीं एनटीपीसी सबजूनियर नेशनल आर्चरी चैम्पियनशिप में तीरंदाजी में स्वर्ण पदक तथा चेष्टा देओल को तीरंदाजी में रजत विजेता खिलाड़ियों को तीन-तीन लाख की आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई गई। इसी प्रकार जकार्ता में आयोजित हीरो एशिया कप-2022 में हॉकी में कांस्य पद विजेता विष्णुकांत सिंह तथा उत्तम सिंह को भी तीन-तीन लाख रुपये की राशि शारीरिक संवर्धन एवं डाइट मनी के लिए उपलब्ध कराई गई। इनके अलावा कजाकिस्तान में हुए अंडर-19 एवं अंडर-17 एशियन कुश्ती चैम्पियनशिप में रजत पदक प्राप्त करने वाली नीलम को दो लाख रुपये, 32वें ओलम्पियाड, टोक्यो-2020 में प्रतिभाग करने वाले एवं 23 ओपन स्प्रिंट नेशनल रोईंग चैम्पियनशिप में रजत पदक विजेता अरविन्द सिहं तथा नेशनल इक्वेस्टेरियन चैम्पियनशिप में घुड़सवारी खेल में रजत पदक प्राप्त करने वाली म्थव अस्थाना को एक-एक लाख रुपये की आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई गई। इसके साथ ही अन्य खिलाड़ियों को नियमानुसार 50 हजार से 75 हजार रुपये की राशि दी गई। प्रदेश के विभिन्न शहरों एवं मण्डलों से राष्ट्रीय तथा अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में पदक विजेता खिलाड़ियों को एकलव्य कीड़ा कोष से आर्थिक सहायता प्रदान की जा रही है।