लखनऊ। योगी सरकार के निर्देशों पर कोविड महामारी में परिहन निगम प्रवासियों और दैनिक यात्रियों को उनकी मंजिल तक पहुंचाने का दिन-रात काम कर रहा है। प्रदेश में निगम की 9000 बसें दैनिक यात्रियों के साथ दूर-दराज से आ रहे प्रवासियों को दोस्त बनकर उनके गंतव्य तक पहुंचा रही हैं। यात्रियों से कोविड नियमों का पूरी तरह से पालन कराते हुए उनको सुरक्षित यात्रा कराई जा रही है। परिवहन निगम की 3000 बसों को पंचायत चुनावों में भी लगाया गया है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वर्तमान परिस्थितियों में यात्रियों और प्रवासियों की पूरी तरह से मदद करने के लिए परिवहन निगम के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं। उन्होंने निगम के कर्मचारियों की सुरक्षा में कोई कमी नहीं छोड़ने के साथ बस डिपो की स्वच्छता और बसों को पूरी तरह से समय-समय पर सैनिटाइज करते रहने के निर्देश भी दिए हैं। जिसके बाद से परिवहन निगम ने कोरोना की दूसरी लहर में भी यात्रियों और प्रवासियों की दिन-रात सेवा करके मुख्यमंत्री की कसौटी पर खरा उतरते हुए खुद को साबित कर दिखाया है। कोरोना की पहली लहर में भी कोरोना महामारी के दौरान चुनौतियों से जूझते हुए राज्य परिवहन निगम ने यात्रियों और प्रवासियों की बड़ी मदद की थी।
दिन-रात काम में जुटे हैं परिवहन निगम के 55 हजार कर्मी : परिवहन निगम के महाप्रबंधक (पी/पीपीपी/आरटीआई) डीवी सिंह ने बताया कि कोविड की दूसरी लहर में जनता की सेवा में कोई कमी निगम की ओर से नहीं छोड़ी जा रही है। हर प्रवासी और यात्री को उनके गंतव्य तक पहुंचाने में बस सेवा जुटी है। इस कार्य में 3000 सरकारी चालक-परिचालक लगाए गए हैं। संविदा के 18000 चालक और 15000 परिचालक अपनी ड्यूटी निभा रहे हैं। चालक, परिचालक समेत बस अड्डों पर स्टेशन मास्टर से लेकर विभिन्न जिम्मेदारियों का निर्वाह करने में 55,000 कर्मचारी पूरी निष्ठा से लोगों को सुविधाएं देने में जुटे हैं।
सुबह बस डिपो से सैनिटाइज होकर निकल रही बसें : मुख्यमंत्री के निर्देश पर प्रदेश में परिवहन निगम की बसों को सैनिटाइज कराने का काम भी पूरी तत्परता और ईमानदारी के साथ किया जा रहा है। किसी भी बस को बिना सैनिटाइज करे फील्ड में नहीं भेजा जा रहा है। ड्राइवर को डबल मास्क और ग्लब्स दिए गए हैं। सुबह बस डिपो से निकलने पर बसों को सैनिटाइज किया जाता है। उसके बाद जितनी बार बसें डिपो में आती हैं, उतनी बार उनको सैनिटाइज करके यात्रियों के लिए सुरक्षित किया जा रहा है।