A Wonderful Gift of Natural Beauty Mokokchung

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मोकोकचुंग हिल स्टेशन को प्रकृति का गुलदस्ता कहें तो शायद कोई अतिश्योक्ति न होगी। जी हां, मोकोकचुंग हिल स्टेशन में प्राकृतिक सुन्दरता का हर आयाम है। नागालैण्ड का यह हिल स्टेशन देश विदेश में अपनी एक अलग ख्याति रखता है। मोकोकचुंग हिल स्टेशन में खूबसूरत घाटियां-वादियां, पर्वत श्रंखलाओं, दर्रो की श्रंखला, नदियों-झीलों की सुन्दर श्रंखला विद्यमान है। समुद्र तल से करीब 1325 मीटर शीर्ष पर स्थित यह हिल स्टेशन देश दुनिया में अपनी एक अलग ख्याति है। यहां की पर्वत श्रंखलाओं की रोमांचक यात्रा का आनन्द लिया जा सकता है। खास यह कि यहां की रोमांचक यात्रायें अविस्मरणीय हो जाती हैं। कारण चौतरफा प्राकृतिक सौन्दर्य की इन्द्रधनुषी आभा आच्छादित है। बादलों एवं पर्वत श्रंखलाओं की अठखेलियां देख कर मन पुलकित हो उठता है। पहाड़ी चोटियों से मोकोकचुंग का मनोहारी दृश्य दिखता है। शहर का विहंगम दृश्य रात में आैर भी अधिक आकर्षक दिखता है। कारण रात में शहर रोशनी से जगमगा उठता है। मोकोकचुंग हिल स्टेशन एवं उसके आसपास आकर्षक स्थलों की एक लम्बी श्रंखला है। इनमें खास तौर से लोंगखुम, गुफायें, तेंगकम, मारोक, उन्गमा, चूचूयिमलांग आदि सहित बहुत कुछ है। मोकोकचुंग को खास तौर से नागालैण्ड की सांस्कृतिक एवं बौद्धिक राजधानी के रूप में पहचाना जाता है। लोंगखुम : लोंगखुम हिल स्टेशन का मुख्य आकर्षण है। कहावत है कि लोंगखुम की यात्रा करना एक बार काफी नहीं होती। मान्यता है कि कोई पहली बार यात्रा पर आता है तो उसकी आत्मा यहां रह जाती है। आत्मा को वापस लेने के लिए दोबारा यात्रा करनी चाहिए। लोंगखुम का हस्तशिल्प एवं हथकरघा खास तौर पर प्रसिद्ध है। स्थानीय निवासी लोंगलपा त्संुग्रेम भगवान की पूजा अर्चना करते हैं। गुफाएं : मोकोकचुंग हिल स्टेशन के मुख्य आकर्षण में यहां की गुफाएं भी हैं। मोकोकचुंग की यात्रा की अवधि में पर्यटकों को फ्युजन केई एवं मोंगजु गुफाओं की यात्रा अवश्य करनी चाहिए। यह सुन्दर एवं शानदार गुफायें करीब 25 किलोमीटर लम्बी हैं। तेंगकम मारोक : तेंगकम मारोक वस्तुत: एक खूबसूरत झरना है। मान्यता है कि इस झरना में दिव्य शक्ति है। खूबसूरत चट्टान से प्रवाहित यह शीतल एवं शांत झरना दीर्घ आयु प्रदान करता है। इसी झरना के निकट लोंगरित्यु लेंडेन की यात्रा का आनन्द लिया जा सकता है। उन्गमा : उन्गमा आदिवासियों का एक सुन्दर गांव है। उन्गमा मोकोकचुंग से करीब 3 किलोमीटर दूर स्थित है। खास यह कि इस सुन्दर गांव को खुद आदिवासियों ने बसाया था। उन्गमा को आदिवासियों का जीता जागता संग्रहालय कहा जा सकता है। संस्कृति एवं सभ्यता के सुन्दर आयाम यहां महसूस किये जा सकते हैं। चूचूयिमलांग : चूचूयिमलांग सांस्कृतिक उत्सव के लिए खास तौर से जाना जाता है। मोआत्सु उत्सव यहां की खासियत है। यह उत्सव खास तौर से भाई-चारा एवं आपसी सौहाद्र्र के लिए जाना जाता है। उत्सव पर एक दूसरे को उपहार देने की परम्परा है। मोकोकचुंग पार्क : मोकोकचुंग पार्क को मुख्य रूप से टाउन पार्क कहा जाता है। इलाके का यह मुख्य पर्यटन स्थल है। प्राकृतिक सुन्दरता का यह एक आदर्श स्थान है। पार्क का व्यू प्वाइंट पर्यटकों का खास एवं पसंदीदा स्थल रहता है। इस व्यू प्वाइंट से मोकोकचुंग का दृश्य पक्षी की आंख जैसा दिखता है। ऐसा प्रतीत होता है कि जैसे किसी चित्रकार ने सुन्दर चित्र गढ़ा हो। पार्क में एक सुन्दर फुटबाल ग्राउण्ड एवं वाच टावर भी है। फुटबाल नागालैण्ड का मुख्य खेल है। बसंत ऋतु में यहां घूमने का आनन्द ही कुछ आैर होता है। मोकोकचुंग हिल स्टेशन की यात्रा के सभी आवश्यक संसाधन उपलब्ध हैं। निकटतम एयरपोर्ट दीमापुर है। दीमापुर एयरपोर्ट से मोकोकचुंग हिल स्टेशन की दूरी करीब 212 किलोमीटर है। निकटतम रेलवे स्टेशन भी दीमापुर है। पर्यटक सड़क मार्ग से भी यात्रा कर सकते हैं।