1947 से 2016 तक दो एक्सप्रेस वे बने, अब पांच नए एक्सप्रेस वे

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बोले- पांच नए एक्सप्रेस वे के साथ कनेक्टिविटी के लिए बेहतर मंच उपलब्ध करा रही प्रदेश सरकार

इसी वर्ष जनता को समर्पित होंगे पूर्वांचल एक्सप्रेस वे और बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे

अंतरराष्ट्रीय, अंतरराज्यीय, जिला, तहसील, विकास खंड मुख्यालय के साथ गांव की सड़कों को भी किया गया बेहतर

लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उत्तर प्रदेश 1947 से 2016 तक केवल दो एक्सप्रेस वे बना पाया था और चार वर्ष के दौरान प्रदेश सरकार पांच नए एक्सप्रेस वे के साथ कनेक्टिविटी के लिए बेहतर मंच उपलब्ध करा रही है। उन्होंने कहा कि पूर्वांचल एक्सप्रेस वे और बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे इसी वर्ष हम जनता को समर्पित करेंगे। गंगा एक्सप्रेस वे में भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही तेजी से चल रही है।

यह बातें उन्होंने आज प्रदेश सरकार के चार साल का कार्यकाल पूरे होने पर लोकभवन में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में कहीं। सीएम योगी ने कहा कि चार साल में इंटर स्टेट की कनेक्टिविटी को भी बेहतर किया गया। प्रदेश की सीमा नेपाल राष्ट्र से जुड़ी है। बिहार, छत्तीसगढ़ झारखंड, मध्य प्रदेश, राजस्थान, उत्तराखंड, हरियाणा और दिल्ली राज्यों से भी जुड़ी है। इंटर स्टेट कनेक्टिविटी को बेहतर करने, फोर लेन की कनेक्टिविटी के साथ जोड़ने, हर जिला मुख्यालय को फोरलेन की कनेक्टिविटी के साथ जोड़ने, तहसील और विकास खंड मुख्यालयों को 2 लेन के साथ जोड़ने और ग्रामीण क्षेत्र की सड़कों का भी सुदृढीकरण करने में सफलता मिली।

उत्तर प्रदेश नए भारत के नए उत्तर प्रदेश के रूप में उभरा : उन्होंने कहा कि प्रदेश में हर सेक्टर इंफ्रास्ट्रक्चर, लोक कल्याण, एमएसएमई या कृषि क्षेत्र में जो कार्य हुए हैं, इसके बहुत सार्थक परिणाम सामने आए हैं। प्रति व्यक्ति आय भी मात्र चार साल में दिखने को मिली है। यह जो यात्रा है, चार वर्षों की यह उत्तर प्रदेश के ओवर आल परसेप्शन को बदल कर उत्तर प्रदेश के बारे में सकारात्मक माहौल देखने को मिला है। इसे बनाने में प्रधानमंत्री का मार्गदर्शन और टीम के सभी सहयोगियों के परिश्रम और प्रदेश की जनता ने जनप्रतिनिधियों के साथ मिलकर कार्य किया है। यह टीम वर्क हर क्षेत्र में देखने को मिले हैं आज उसका परिणाम है कि उत्तर प्रदेश नए भारत के नए उत्तर प्रदेश के रूप में उभरा है।

गांव की गलियों से लेकर एक्सप्रेस वे तक रोड कनेक्टिविटी : प्रदेश सरकार ने इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट में पिछली सरकारों की तुलना में कई गुना काम किया है। प्रदेश में एक अप्रैल 2017 से फरवरी 2021 तक 13,189 किमी नई सड़कें बनाई गई हैं। 13,613 किमी सड़कों का चौड़ीकरण/सुदृढ़ीकरण, 3,32,804 किमी सड़कों को गड्ढा मुक्त और 428 छोटे-बड़े पुल बनाए गए हैं। ऐसे ही गांव की गलियों से लेकर तहसील और विकास खंड मुख्यालयों को दो लेन सड़क से जोड़ने, प्रदेश से जुड़ने वाले अन्य प्रदेशों और देश की सीमाओं तक जाने वाले 76 सड़कों के लिए 1599 करोड़ की लागत से 840 किमी सड़कें बनाई जा रही हैं। राज्य सरकार ने बजट में वित्तीय वर्ष 2021-22 में लोक निर्माण विभाग की सड़कों और पुलों के लिए 12,441 करोड़ दिए हैं।