लखनऊ। यूपी को उद्यम प्रदेश बनाने की सीएम योगी की पहल रंग दिखाने लगी है। उत्तर प्रदेश में निवेश करने के लिए देशी विदेशी कंपनियों में होड़ लगी है। प्रदेश में निवेश के लिए कंपनियों ने ₹ 4.68 लाख करोड़ के प्रस्ताव दिए हैं । जिनमें से ₹ 3 लाख करोड़ की परियोजनाओं पर काम शुरू हो गया है।
निवेश को आकर्षित करने की सरकार की प्रतिबद्धता, कानून व्यवस्था में निरन्तर सुधार और उद्यमियों को दी जा रही अन्य सुविधाओं ने यूपी को निवेशकों की आंखों का तारा बना दिया है। उत्तर प्रदेश में तेजी से बदलते माहौल और हालात में सुधार की तारीफ गुरुवार को खुद राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने भी की। बजट अभिभाषण के दौरान राज्यपाल ने कहा कि उत्तर प्रदेश ईज आफ डूईंग बिजनेस रैंकिंग में देश में दूसरे स्थान पर आ गया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में निवेश आकर्षित करने के लिए आयोजित इन्वेस्टर समिट के सकारात्मक परिणाम मिल रहे हैं। समिट में रु० 4.68 लाख करोड़ के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए, जिनमें से लगभग रु० 3.00 लाख करोड़ की परियोजनाएं सक्रिय रूप से संचालित भी हो गई हैं।
राज्यपाल ने कहा कि निवेश प्रोत्साहन में गतिशीलता लाने हेतु 27 विभागों के साथ ‘निवेश मित्र पोर्टल की स्थापना की गयी, जिसमें अब तक 227 सेवाएं सम्मिलित की जा चुकी हैं। कोरोना कालखण्ड में निवेश आकर्षित करने के लिए इन्वेस्ट यूपी के अन्तर्गत हेल्पडेस्क स्थापित की गई। जिसके फलस्वरूप अब तक 56 परियोजनाओं के लिए 45 हजार करोड़ के निवेश प्रास्ताव मिले हैं। बुन्देलखण्ड एक्सप्रेस-वे के साथ डिफेन्स इस्ट्रियल कोरिडोर परियोजना का निर्माण भी प्रगति पर है।