गोरखपुर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने निर्देशित किया कि जल्द से जल्द अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में बन रहे 200 बेड आईसीयू डेडिकेटेड कोविड अस्पताल को न केवल क्रियाशील किया जाए, बल्कि यहां बेड की क्षमता बढ़ाने की दिशा में तेजी से कार्य किया जाए। विमान निर्माता कंपनी बोइंग से अधिकारी यहां ऑक्सीजन प्लांट लगाने की भी बात करें। इसके लिए एलएमओ (लिक्विड मेडिकल ऑक्सीजन) और अन्य जरूरी सुविधाएं राज्य सरकार देगी।
यह निर्देश उन्होंने एम्स और जिले के अधिकारियों के साथ बैठक में अपने दो दिवसीय गोरखपुर दौरे के दूसरे दिन सोमवार को दिए। इसके बाद उन्होंने राज्य सरकार और विमान निर्माता कंपनी बोइंग की तरफ से एम्स में शुरू होने वाले डेडिकेटेड कोविड अस्पताल की तैयारियों का जायजा लिया और निरीक्षण भी किया। पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन और ड्राइंग मैप देखने के साथ उन्होंने प्रस्तावित स्थान का भी भ्रमण किया। सीएम योगी की पहल पर अंतरराष्ट्रीय विमान निर्माता कंपनी बोइंग ने 200 बेड के कोविड अस्पताल के संचालन का प्रस्ताव दिया है। मुख्यमंत्री से वार्ता के बाद जिला प्रशासन ने इस कोविड अस्पताल के लिए एम्स का चयन किया है।
सेवाभाव से काम करते हुए इस महामारी का करना है मुकाबला: उन्होंने कहा कि गोरखपुर पूर्वी उत्तर प्रदेश के साथ बिहार के सीमावर्ती लोगों के लिए स्वास्थ्य सुविधाओं का बड़ा केंद्र है। एम्स में विमान निर्माता कंपनी बोइंग अपने सीएसआर फंड से वेंटिलेटर युक्त 200 बेड का कोविड अस्पताल राज्य सरकार के सहयोग से शुरू कर रही है। सरकार यहां ऑक्सीजन, फायर सेफ्टी, सुरक्षा आदि सुविधाएं भी उपलब्ध करा रही है। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा कि सेवाभाव से काम करते हुए इस महामारी का मुकाबला करना है।
दो कोविड टीकाकरण केंद्रों का निरीक्षण किया मुख्यमंत्री ने : गोरखपुर दौरे के दौरान सोमवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने दो कोविड टीकाकरण केंद्रों का निरीक्षण किया और लोगों से फीडबैक लिया। मुख्यमंत्री सबसे पहले चरगांवा सीएचसी पर बने कोविड टीकाकरण केंद्र पर पहुंचे। यहां उन्होंने टीकाकरण का जायजा लेने के साथ मौजूद लोगों से पूछा कि कोई दिक्कत तो नहीं हो रही? इसके बाद सीएम योगी बीआरडी मेडिकल कॉलेज के टीकाकरण केंद्र पहुंचे, जहां पंजीकृत लोगों को कोविड वैक्सिन लगाई जा रही थी। यहां भी मुख्यमंत्री ने लोगों से दिक्कतों के बारे में पूछा। सबने कहा कि उन्हें कोई परेशानी नहीं हुई।